कच्चे तेल का रेट 10% बढ़ा, पेट्रोल एक हफ्ते में 5 रुपए तक महंगा हो सकता है

बिजनेस डेस्क. अंतरराष्ट्रीय बाजार में ब्रेंट क्रूड (कच्चे तेल) के रेट में सोमवार को 12 डॉलर प्रति बैरल (20%) की तेजी आई। यह जनवरी 1991के बादएक दिन की सबसे ज्यादातेजी है। हालांकि, बाद में 6 डॉलर (10%) रह गई। इधर, रुपया डॉलर के मुकाबले 71 पैसे कमजोर होकर 71.63 पर आ गया। केडिया कमोडिटी के डायरेक्टर अजय केडिया के मुताबिक यह भारतीय तेल कंपनियों के लिए दोहरा झटका है। केडिया ने भास्कर APP से बातचीत में बताया कि इससे देश में पेट्रोल-डीजल की कीमतें एक हफ्ते में 5 रुपए तक बढ़ सकती हैं। क्योंकि, भारत अपनी जरूरत का 80% से ज्यादा क्रूड इंपोर्ट करता है। तेल कंपनियां क्रूड की कीमत और रुपया-डॉलर एक्सचेंज रेट के आधार पर हर रोज कीमतें तय करते हैं। क्रूड इंपोर्ट महंगा होने की वजह से कंपनियां पेट्रोल-डीजल के रेट बढ़ाएंगी।प्रमुख शहरों में आज पेट्रोल-डीजल के रेट शहर पेट्रोल (रुपए/लीटर) डीजल (रुपए/लीटर) दिल्ली 72.03 65.43 मुंबई 77.71 68.62 कोलकाता 74.76 67.84 चेन्नई 74.85 69.15 जयपुर 75.89 70.48 भोपाल 74.49 68.81 रायपुर 74.49 70.97 लखनऊ 74.21 65.61 देहरादून 74.49 65.96 चंडीगढ़ 68.12 62.33 अहमदाबाद 69.51 68.51 पटना 75.69 68.65 रांची 70.63 66.87 क्रूड की कीमत में तेजी क्यों?दुनिया की सबसे बड़ी तेल कंपनी सऊदी अरामको के दो प्लांट पर यमन के हूती लड़ाकों ने शनिवार को ड्रोन से हमला कर दिया। इससे सऊदी अरब में कच्चे तेल का उत्पादन 50% घट गया। यह ग्लोबल प्रोडक्शनका 5% है। हमले से पहले सऊदी अरब करीब 100 लाख बैरल प्रति दिन उत्पादन कर रहा था। अब यह घटकर 50 लाख बैरल रह गया है। इस वजह से सोमवार को अंतरराष्ट्रीय बाजार में ब्रेंट क्रूड का रेट बढ़ा। सऊदी अरब का कहना है कि जल्द हालात काबू में होंगे और उत्पादन फिर से पुराने स्तर पर पहुंच जाएगा।जरूरत पड़ी तो इमरजेंसी स्टोर का इस्तेमाल करेंगे: ट्रम्पउधर, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रम्प ने रविवार को ट्वीट कर कहा कि जरूरत पड़ने पर आपात कालीन तेल भंडार का इस्तेमाल करने की इजाजत दे दी गई है। ताकि, आपूर्ति बाधित नहीं हो और तेल की कीमतों पर असर ना पड़े।7 दिन में हालात सामान्य नहीं हुए तो क्रूड 15-20 डॉलर महंगा होगा: रिपोर्टरॉयटर्स की रिपोर्ट के मुताबिक विश्लेषकों का कहना है कि सऊदी अरब में 30 दिन में स्थिति सामान्य नहीं होती तो अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत 100 डॉलर प्रति बैरल के पार जा सकती है। 7 दिन सप्लाई बाधित रही तो कच्चा तेल 15 डॉलर से 20 डॉलर प्रति बैरल तक महंगा हो सकता है।क्रूड में 1 डॉलर के इजाफे से भारत पर सालाना 10700 करोड़ रुपए का असरकच्चा तेल महंगा होने से भारत का आयात बिल और व्यापार घाटा भी बढ़ेगा। पेट्रोलियम मंत्रालय से जुड़े एक अधिकारी के मुताबिक कच्चे तेल की कीमत में 1 डॉलर के इजाफे से भारत पर सालाना 10,700 करोड़ रुपए का असर पड़ता है।क्रूड महंगा होने का भारतीय तेल कंपनियों के शेयरों पर असर कंपनी शेयर में गिरावट हिंदुस्तान पेट्रोलियम 7% बीपीसीएल 6% आईओसी 3% Download Dainik Bhaskar App to read Latest Hindi News Today सिंबॉलिक इमेज।

Back to 365NEWSX